जमशेदपुर ईस्ट सीट से बीजेपी के बागी सरयू राय (Saryu Rai) से इस सीट से सीएम रघुवर राय (Raghuvar Rai) की जीत का क्रम रोक दिया है. और इस बड़ी राजनैतिक उठापटक के सबसे करीबी गवाह बने हैं कांग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ. गौरव वल्लभ को इस चुनाव में 16 हजार से अधिक वोट मिले हैं और इस सीट पर वोटों की गिनती अभी चल रही है . कांग्रेस ने गौरव वल्लभ को इस सीट से उतारकर एक प्रयोग किया था जो कि अब सफल कहा जा सकता है, क्योंकि गौरव वल्लभ का कोई लंबा राजनीतिक करियर नहीं है. लेकिन वो अपनी हाज़िर जवाबी और तर्को-दलीलों से जंग जीतने के लिए जाने जाते हैं.
गौरव वल्लभ के सवाल पर ट्रोल हो गए थे संबित पात्रा
गौरव वल्लभ टीवी डिबेट में अपनी तकरीरों और हमलावर अंदाज़ की वजह से सुर्खियां बटोरते आए हैं. हाल ही उन्होंने एक न्यूज़ चैनल के कार्यक्रम में बहस के दौरान बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा से पूछ लिया था कि ट्रिलियन में कितने जीरो होते हैं? संबित पात्रा भी तुरंत ही उनके सवाल का जवाब नहीं दे सके थे और डिबेट के इस हिस्से का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था. दरअसल गौरव वल्लभ ने केंद्र सरकार के 5 ट्रिलियन डॉलर की इकॉनॉमी के दावों पर सवाल उठाया था.
सीएम रघुवर दास को दे रहे हैं टक्कर गौरव वल्लभ को सक्रिय राजनीति में लाने की मांग की जा रही थी. झारखंड कांग्रेस का मानना था कि गौरव वल्लभ को राज्य की किसी महत्वपूर्ण सीट से चुनाव मैदान में उतारा जाए. इस वजह से मुख्यमंत्री रघुवर दास के खिलाफ मैदान में उतरने से जमशेदपुर सीट पर मुकाबला बेहद रोमांचक हो गया है क्योंकि बीजेपी से बागी हुए सरयू राय जमशेदपुर ईस्ट सीट से निर्दलीय मैदान में हैं.
आर्थिक मामलों पर अच्छी पकड़
गौरव वल्लभ की आर्थिक मामलों में खासी पकड़ है. वो जमशेदपुर के बिज़नेस मैनेजमेंट कॉलेज एक्सएलआरआई में प्रोफेसर रह चुके हैं और साल 2003 से 2017 तक यहां पढ़ा चुके हैं. इसके अलावा पिछले दो साल से वह चार्टर्ड अकाउंटेंट की संस्था आईसीएआई के डायरेक्टर भी रह चुके हैं जबकि साल 2003 में आरबीआई के थिंक-टैंक के तौर पर भी उन्होंने काम किया है.
शानदार रहा है एकैडमिक करियर
गौरव वल्लभ ने क्रेडिट रिस्क मैनेजमेंट में डॉक्ट्रेट हासिल की है तो इसके अलावा वो एलएलबी, सीए और सीएस भी कर चुके हैं. उनके शानदार एकैडमिक करियर को देखते हुए उन्हें कांग्रेस में बड़ी भूमिका मिली है. वो साल 2017 में कांग्रेस में शामिल हुए और 2019 में उन्होंने कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता के तौर पर अपनी बात कहने का मौका मिला. लेकिन उनकी शानदार तर्कशक्ति, तीखे सवालों और हाज़िर जवाबी ने उन्हें कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ताओं में शीर्ष पर पहुंचा दिया.
झारखंड में कांग्रेस का प्रयोग हैं गौरव वल्लभ
गौरव वल्लभ का जन्म दिल्ली में 1977 में हुआ. हालांकि गौरव वल्लभ राजस्थान में जोधपुर के पीपड़ गांव के रहने वाले हैं. पाली जिले से उन्होंने स्कूली शिक्षा पूरी की है. इसके बाद उन्होंने दिल्ली से ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी की. गौरव वल्लभ विकास के मॉडल पर चुनाव मैदान में जनता के बीच उतरे हैं. गौरव के पास इस चुनाव में खोने के लिए कुछ नहीं है क्योंकि कांग्रेस ने एक बड़े प्रयोग के तौर पर उन्हें मैदान में उतारा है. लेकिन अगर गौरव चुनाव जीत गए तो वो झारखंड में कांग्रेस के सबसे बड़े चेहरे के तौर पर खुद को स्थापित करने में कामयाब जरूर हो जाएंगे.