नक्सलियों के खिलाफ आपसी समन्वय बैठाकर अभियान चलाने की रणनीति तैयार की गयी है। नक्सलवाद को लेकर जमशेदपुर के एसएसपी अनुप बिरथरे के कार्यालय में अंतर्राज्जीय पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक की गई। इस बैठक में झारखंड, पश्चिम बंगाल और उड़ीसा के पुलिस अधिकारी मौजूद हुए। बैठक का नेतृत्व कोल्हान के डीआईजी कुलदीप द्विवेदी ने किया। डीआईजी ने कहा कि राज्य की सबसे बड़ी समस्या नक्सलवाद है। पुलिस को लगातार सूचनाएं मिल रही है कि नक्सली अब नए युवाओं को अपना शिकार बना रहे है, हालांकि पुलिस युवाओं को भटकने से रोकने के लिए संयुक्त अभियान चलाने की योजना पर काम कर रही है। साथ ही नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में विकास कैसे हो इस पर भी तीनों राज्यों की पुलिस ने बैठक के दौरान रणनीति बनाया। नक्सलियों को मार गिराने या सफाया करने को लेकर तीनों राज्यों के पुलिस अधिकारियों ने अपने अपने विचार एक दूसरे से साझा किया। ताकि नक्सलियों पर नकेल कसा जा सके। डीआईजी ने साफ तौर पर कहा कि नक्सलवाद को जड़ से खत्म करना सरकार की पहली प्राथमिकता है। नक्सली सरेंडर पॉलिसी के तहत सरकार के सामने आत्मसमर्पण कर दे, नहीं तो परिणाम भुगतने के लिए तैयार रहें ।
झारखंड पुलिस के साथ-साथ पश्चिम बंगाल और उड़ीसा पुलिस के लिए आकाश दस्ता सिरदर्द बन चुका है। गौरतलब है कि दो माह पूर्व आकाश दस्ता ने कोबरा बटालियन के जवान को मार गिराया था। जिसके बाद आकाश दस्ता पर नकेल कैसे कसा जाए और नए लोग जो नक्सलियों के दस्ते में शामिल होना चाहते हैं। उसे कैसे रोका जाए इसको लेकर रणनीति बनाया गया।