विगत 28 जून से बंद मंदिर के पट 15 दिनों बाद आज शनिवार 14 जुलाई को खुलेगा। 56 भोग लगाने के बाद भगवान जगन्नाथ स्वामी की रथयात्रा धूमधाम से निकाली जाएगी। दादर में भगवान जगन्नाथ की भव्य रथयात्रा निकाली जाएगी। दादर में मेला सा माहौल रहेगा, यहाँ श्रद्धालुओं का जन सैलाब उमड़ेगा, इसकी तैयारी समिति के सदस्यों द्वारा पूरी कर ली गई है। शहर के ग्राम दादर में 116 साल से भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा निकाली जा रही है। हर वर्ष की तरह इस बार भी प्राचीन मंदिर में पूरी धार्मिक रीति-रिवाज के साथ आयोजन होगा। श्रद्धालुओं ने 14 जुलाई को निकाली जाने वाली रथयात्रा के लिए तैयारी पूर्ण कर ली है।
पुजारी पंडित रामेश्वर प्रसाद द्विवेदी ने बताया कि प्रभु जगन्नाथ स्वामी बीते 28 जून शुक्ल पूर्णिमा को महास्नान कर आमरस पान कर बीमार हो गए थे । प्रभु को भक्त जगन्नाथ की तरह मानव स्वरूप मानकर आमरस पान कराया गया। सेवक प्रतिदिन विशेष काढ़ा पिलाकर उपाचार किया गया ताकि जगत के पालनहार स्वस्थ होकर 14 जुलाई को नगर भ्रमण कर सकें। प्रभु जगन्नाथ स्वामी कल श्रद्धालओं को दर्शन देंगे, आयोजन में विशेष आकर्षण केंद्र भगवान जगन्नाथ, बलभद्र व सुभद्रा की प्रतिमाओं को सुसज्जित कर रथ में बैठाया जाएगा। खींचने के लिए रथ को सजाया गया है।
प्रतिवर्ष की तरह इस वर्ष भी इस आयोजन को लेकर ग्रामवासियों में उल्लास का वातावरण बना है। इस दिन यहां हजारों की तादाद में श्रद्धालु उपस्थित होते हैं। गांव में मेले का भी आयोजन किया जाता है। जनश्रुति के अनुसार भगवान जगन्नाथ स्वामी इस दिन भाई बलभद्र व बहन सुभद्रा के साथ अपने मौसी के घर जाते हैं। परंपरा के अनुसार गांव के मंदिर से भगवान जगन्नाथ स्वामी को रथ में बैठाकर गांव भर में भ्रमण कराया जाता है। इस आयोजन में रथ खींचने के उत्सुकता के साथ श्रद्धालु पुण्य लाभ लेने गांव पहुंचेंगे। दादर में 14 जुलाई को निकाली जाने वाली भगवान जगन्नाथ स्वामी की रथयात्रा की अगुवाई करमा नृत्य दल करेगा।
समिति द्वारा रामलीला का आयोजन किया जाएगा। रथयात्रा के दौरान झांकी भी निकाली जाएगी, जो लोगों के आकर्षक का केन्द्र रहेगा। पूरे गांव में रथयात्रा का भ्रमण कराया जाएगा। शहरवासी काफी संख्या में शामिल होते हैं। पुण्य लाभ अर्जित करने रथयात्रा खींचने लोगों की भीड़ उमड़ेगी। सुरक्षा के दृष्टिकोण से पुलिस बल की तैनाती रहेगी।