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विकास बस्तर का नहीं भाजपाईयों का हो रहा है: राजीव शर्मा

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जगदलपुर: शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष राजीव शर्मा ने खनिज विभाग के कार्रवाई के तहत करोड़ो के गौड़ खनिज की तस्करी लम्बे समय से भाजपाई सरपंच के द्वारा किए जाने के विरूद्ध हुई कार्रवाई की जहां प्रशंसा की वहीं इस करोड़ों के आर्थिक घोटाले का खुलासा करने वाले मीडिया कर्मियों की तत्परता की मुक्त कंठ से प्रशंसा की है। उल्लेखनीय है कि महिनों से करनपुर क्षेत्र से लगी पहाड़ी में मुरूम की खुदाई का सिलसिला बड़े पैमाने पर संचालित किया जा रहा है। यद्यपि इस कार्रवाई का ग्रामीण दबे स्वर में विरोध जरूर कर रहे थे, किन्तु वे अपनी स्थिति के निर्माण से बचने हेतु खुलकर सरपंच की गतिविधियों का विरोध नहीं कर पा रहे थे। क्षेत्र की स्थिति का जायजा लेने पत्रिका का एक दल किसी सूत्रधार के द्वारा व्यक्त खबर की पुष्टि के लिए जब नगरनार क्षेत्र से जुड़े ग्राम करनपुर पहुंचा और वहां उन्होनें ग्राम्यजनों से चर्चा की तो उन्हें वास्तिविकता का ज्ञान हुआ। ग्रामीणों का कहना था कि मुरूम की खुदाई का काम सरपंच के संरक्षण में उसके कारिंदों के द्वारा बड़े पैमाने पर किया जा रहा था। प्रतिदिन तीस से चालिस ट्रक मुरूम ढुलाई राष्ट्रीय खनिज विकास निगम के नाम पर किया जा रहा था।

इस प्रकार प्रत्येक दिन लाखों के मुरूम की निकासी करनपुर क्षेत्र से की जा रही थी। यह खुदाई और ढुलाई का सिलसिला इतना व्यापक था उक्त पहाड़ी के अवलोकन से इस बात का आभास हो जाता है कि एक पूरी लम्बी नहर का दृश्य साकार हो उठता है। पत्रिका को भनक लगने पर जब इस बाबत उन्होंने खनिज विभाग में संपर्क किया तो वहां पदस्थ उपसंचालक आरसी नेताम जी ने साफ तौर पर ऐसे किसी जानकारी से इंकार करते हुए तत्काल संबंधित निरीक्षक को दबिश देकर कार्रवाई के निर्देश जारी किए। इसके चलते वहां पोकलेन टिप्पर आदी जब्त कर फर्जीवाड़ा का खुलासा हुआ। उल्लेखनिय है कि ग्रामीणों ने अपने शिकायत में पत्रिका परिवार को अवगत करवाया था कि पहाड़ी पर मुरूम की खुदाई होने से पानी का बहाव ढलाव की दिशा पकड़ घरों तक पहुंच रहा था। जहां तक उनके खेत खलिहान भी इससे प्रभावित हो रहे थे। इसकी शिकायत सरपंच से करने पर भी उन्होंने इस ओर ध्यान नहीं दिया, और अनवरत मुरूम की तस्करी जारी रही। इस ढुलाई के सिलसिले में ग्राम पंचायत की व्यवस्था के अंतगर्त जो शुल्क ग्राम पंचायत को मिलनी थी वह भी सरपंच के द्वारा डकार ली गई। देखना है कि प्रशासन इस मामले को सरकारी तंत्र से जुड़े नेता के विरूद्ध कार्रवाई को किस रूप में क्रियान्वित कर पाता है। बहरहाल मीडिया की इस पहल की शर्मा ने मुक्त कंठ से प्रशंसा की है जिन्होनें तत्परता के साथ करोड़ों के इस घोटाले का खुलासा किया है उसकी जितनी भी तारीफ किया जाए वह कम है। शर्मा ने मीडिया की तत्परता की प्रशंसा करते प्रशासन के सामने सवाल रखा है कि विभागीय अधिकारी अपने दायित्व का निर्वहन सही ढंग से करने में चूक क्यों कर रहे हैं। क्या भाजपा शासन में ऐसी ही कारगुजारी देखी जाती रहेगी।

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