Home News दंतेवाड़ा में 28 मई को मनाया जायेगा विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस

दंतेवाड़ा में 28 मई को मनाया जायेगा विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस

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शासन के निर्देशानुसार 28 मई को विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मनाया जायेगा। ज्ञातव्य है कि हर वर्ष 28 मई को विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस मनाया जाता है। इस आयोजन का उद्देश्य दुनिया भर में महिलाओं और किशोरियों को उनके मासिक धर्म के कारण होने वाली चुनौतियों,मासिक धर्म से जुड़ी भ्रांतियों एवं वर्जनाओं को तोड़ने तथा इन चुनौतियों के निराकरण हेतु समाधानों के रूप में मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन विषय पर जागरूकता बढ़ाने विविध कार्यक्रम आयोजित की जाती है। इसी परिप्रेक्ष्य में स्वच्छ भारत मिशन के द्वारा खुले में शौचमुक्त प्लस अंतर्गत मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन के लिये राज्य आजीविका मिशन, महिला एवं बाल विकास विभाग, स्वास्थ्य विभाग, स्कूल शिक्षा विभाग, आदिवासी विकास विभाग आदि विभागों के साथ समन्वय स्थापित कर स्वयंसेवी संगठनों, जनप्रतिनिधियों, महिला स्व-सहायता समूहों तथा सामाजिक सरोकारों से जुड़ी अन्य संस्थाओं की सहभागिता से 27 से 29 मई तक मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन सम्बन्धी विभिन्न गतिविधियां आयोजित की जायेगी। इस अभियान में शिक्षक-शिक्षिकाओं,स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं,प्रेरकों, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं, आंगनबाड़ी सहायिकाओं, मितानिनों की भूमिका सुनिश्चित किये जाने के निर्देश दिये गये हैं। अभियान के दौरान प्रमुख गतिविधियां ‘आओ पीरियड की बात करें’ मुख्यतः पुरुषों पर लक्षित है, इसका लक्ष्य पुरुषों को महिलाओं के प्राकृतिक मासिक धर्म प्रक्रिया के बारे में जागरूक करते हुए उन्हें संवेदनशीलता के साथ सार्थक चर्चाओं में शामिल करना है ताकि पुरूष भी इस नैसर्गिक प्रक्रिया पर खुली एवं स्वस्थ चर्चा कर सकें। वहीं इस अभियान का दूसरा लक्ष्य स्वयं महिलाएं और किशोरियां हैं जिन्हें मासिक धर्म से जुड़ी भ्रांतियों, झिझक एवं संकोच को दूर करने में सहायता मिले तथा उनमें इस प्रक्रिया को लेकर शर्म या झिझक के स्थान पर गर्व की भावना जागृत हो सके। पुरूष एवं महिला दोनों के ही सजग सहयोग से सृष्टि के इस सार को सुगम बनाया जा सके। इस अभियान को पूरी तरह जनजागरूकता के लिये संदेशपरक बनाये जाने पर बल दिया गया है। इसके साथ ही स्वच्छता के लिये सेनेटरी नेपकिन के उपयोग को बढ़ावा देने हेतु महिला स्व-सहायता समूहों के द्वारा निर्मित सेनेटरी नेपकिन का विक्रय, पुरुषों के द्वारा सेनेटरी नेपकिन खरीदने पर रियायत देने, सेनेटरी नेपकिन को पेपर या थैले में छुपाकर ले जाने के बजाय खुले में ले जाने के लिये प्रोत्साहित करना तथा सार्वजनिक स्थलों पर पेडमेन जैसी प्रेरक फिल्म या वृतचित्र का प्रदर्शन किया जाना है।वहीं स्कूल-कॉलेजों में मासिक धर्म स्वच्छता प्रबंधन सम्बन्धी नुक्क्ड़ नाटक, प्रश्नोत्तरी, डिबेट, चित्रकला प्रतियोगिता आयोजित किया जाना है। इसके साथ ही शैक्षणिक संस्थानों, शासकीय कार्यालयों, अस्पतालों एवं अन्य सार्वजनिक स्थलों में महिला स्व-सहायता समूहों अथवा स्वच्छता दूतों के माध्यम से सेनेटरी नेपकिन के अपशिष्ट के सुरक्षित निपटान पर चर्चा और व्यवस्था की दिशा में पहल किया जाना है।