सरगुजा जिले के 224 मतदान केंद्रों में एक ऐसा मतदान केंद्र है,जहां एक भी मतदाता नहीं हैं। उदयपुर विकासखंड के ग्राम केते में मतदान केंद्र तो बनाया गया है लेकिन अब कोई नहीं रहता एवं मतदाताओं की संख्या शून्य है। मामला प्रकाश में आने के बाद जिला प्रशासन ने केते के मतदान केंद्र को निरस्त करने की अनुशंसा निर्वाचन आयोग से की है। मतदान केंद्र निरस्त नहीं हुआ तो केंद्र में मतदान दल जाएगा, लेकिन एक भी मत नहीं पड़ेंगे।
अब गांव नहीं कोयला खदान
सरगुजा जिले के उदयपुर विकासखंड के ग्राम केते की कुल आबादी लगभग 350 की थी। इस वजह से वहां पहले मतदान केंद्र था। इस वर्ष भी वहां मतदान केंद्र निर्धारित कर दिया। किसी ने इस बात पर ध्यान ही नहीं दिया गया कि यह गांव कोल खदान प्रभावित है। राजस्थान राज्य ताप विद्युत परियोजना द्वारा यहां जमीन अधिग्रहण की कार्रवाई की गई है। इस कारण केते में रहने वाले लोग आसपास के दूसरे पंचायत क्षेत्रों में निवास करने लगे हैं। यह गांव पूर्व में आबाद था, अब यहां कोल परियोजना का संचालन किया जा रहा है।
यहां हुई चूक
निर्वाचन आयोग के दिशा निर्देशों के अनुरूप मतदान केंद्रों के युक्तियुक्तकरण का भी प्रस्ताव था। जिम्मेदार अधिकारियों ने इस पर ध्यान ही नहीं दिया गया कि कोल परियोजना प्रभावित केते गांव में अब कोई नहीं रहता, इसलिए यदि यहां के मतदान केंद्र के विलोपन का प्रस्ताव दे दिया जाता तो ऐसी स्थिति ही निर्मित नहीं होती।
मतदान केंद्र निरस्त करने की अनुशंसा
कलेक्टर डा. सारांश मित्तर ने बताया कि केते मतदान केंद्र को निरस्त करने की अनुशंसा निर्वाचन आयोग से की गई है। यदि केंद्र निरस्त हो जाता है तो वहां मतदान दल नहीं भेजा जाएगा। यदि ऐसा नहीं हुआ तो केते केंद्र के लिए भी मतदान दल भेजा जाएगा। केते गांव लोग जहां रह रहे हैं वे वहां के मतदान केंद्र में अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे।