Home News सरकार ने मांगा संविलियन से छूटे शिक्षाकर्मियों का ब्योरा

सरकार ने मांगा संविलियन से छूटे शिक्षाकर्मियों का ब्योरा

756
0

राज्य में करीब एक लाख 3 हजार पंचायत शिक्षाकर्मियों के शिक्षा विभाग में संविलियन की प्रक्रिया पूरी हो गई है। अब नगरीय निकायों में अपनी सेवा दे रहे शिक्षाकर्मियों के संविलियन की प्रक्रिया शुरू हो गई है। नगरीय प्रशासन विभाग ने संयुक्त संचालकों को आज पत्र भेजकर नगरीय निकाय संवर्ग के शिक्षा कर्मियों के बारे में 26 जुलाई तक जानकारी मांगी है।

पत्र में निकाय के नाम सहित पूछा गया है कि संविलियन के बाद कितने शिक्षाकर्मी ऐसे हैं, जिनका संविलियन नहीं हुआ। व्याख्याता, शिक्षक एवं सहायक शिक्षक के विषय से लेकर सेवा में प्रथम नियुक्ति तारीख, वेतन भुगतान का ब्योरा मांगा गया है। बताया जा रहा है कि 1 लाख 3 हजार शिक्षाकर्मियों का संविलियन किए जाने के बाद भी अभी 80 हजार से अधिक शिक्षाकर्मियों को संविलियन का इंतजार है। सरकार ने संविलियन के लिए यह अनिवार्यता रखी है कि जिन शिक्षाकर्मियों के सेवाकाल के आठ साल पूरे हो गए हैं, उनका ही संविलियन किया जाएगा।

इस अनिवार्यता के कारण शिक्षाकर्मी वर्ग एक व दो के शिक्षाकर्मी संविलयन के पात्र बने हैं, लेकिन वर्ग दो के कनिष्ठ एवं वर्ग तीन के अधिकतर लोगों के सेवाकाल के आठ साल पूरे नहीं हुए हैं। राज्य सरकार ने इस संबंध में साफ किया है कि शिक्षाकर्मियों के सेवाकाल के आठ साल जैसे-जैसे पूरे होते जाएंगे, उनका संविलियन होता जाएगा। उधर, संविलियन के बाद शिक्षाकर्मियों के वेतन को लेकर दुविधा की शिकायत सामने आ रही है।

शिक्षाकर्मी मोर्चा के पदाधिकारियों का कहना है कि शिक्षक एलबी को 7वें वेतनमान देने के निर्देश दिए गए हैं, इसके बावजूद कुछ स्थानों से 6वें वेतनमान देते हुए बिल बनाने की खबरें मिल रही हैं। प्रदेश मोर्चा संचालक वीरेंद्र दुबे और प्रान्तीय महासचिव धर्मेश शर्मा ने इस समस्या को सक्षम अधिकारियों के संज्ञान में लाते हुए उसके निराकरण का आग्रह किया। जिसके परिपेक्ष्य में वित्त विभाग से जिला कोषालय अधिकारीयों को एक स्पष्ट दिशा निर्देश प्रदान करते हुए पत्र जारी किया जाएगा।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here