वायनाड सांसद और कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा केरल पहुंची. यहां उन्होंने मलप्पुरम जिले में स्थित निलंबूर के एशिया के सबसे पुराने टीक बागान, कॉनॉली प्लॉट का दौरा किया. प्रियंका गांधी ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में अपने इस दौर की तस्वीरें साझा किया.
इसके कैप्शन में उन्होंने निलंबूर टीक को वायनाड की “कीमती संपत्ति” बताया है.
उन्होंने बताया कि निलंबूर टीक विश्व भर में मशहूर है और इसे बकिंघम पैलेस, रॉल्स-रॉयस कारों सहित कई जगहों पर इस्तेमाल किया गया है. कॉनॉली प्लॉट एशिया का सबसे पुराना टीक बागान है, जहां से हर हफ्ते टीक की नीलामी जनता के लिए की जाती है. प्रियंका गांधी ने कहा कि यह जानना बहुत दिलचस्प था कि ये जंगल किस तरह से खजाने से कम नहीं हैं. इसके अलावा, उन्होंने वायनाड के चेत्तियालथुर गांव का भी दौरा किया, जहां स्थानीय लोगों और जिला कलेक्टर से मुलाकात की.
नेता एशिया का सबसे पुराना सागौन बागान
निलंबूर का टीक बागान अपनी लंबी इतिहास और क्वालिटी के लिए जाना जाता है. यहां की सागौन की लकड़ी का उपयोग शाही महलों, लग्जरी गाड़ियों और अन्य महंगे सामानों में किया जाता है. कॉनॉली प्लॉट को एशिया का सबसे पुराना टीक बागान माना जाता है. हर सप्ताह यहां से तैयार सागौन की लकड़ी की नीलामी होती है.
वायनाड के चेत्तियालथुर गांव का दौरा
कॉन्फरेंस के बाद प्रियंका गांधी वाड्रा ने वायनाड के चेत्तियालथुर गांव का भी दौरा किया. यहां उन्होंने स्थानीय लोगों से मुलाकात की और उनकी समस्याओं को सुना. इसके बाद जिला कलेक्टर और अन्य अधिकारियों के साथ बैठक की गई. इसमें ग्रामीणों की जटिल और महत्वपूर्ण समस्याओं के समाधान पर चर्चा हुई. प्रियंका गांधी ने इस बैठक को एक अच्छी शुरुआत बतायी और आशा जताई है कि आगामी बैठकों में कुछ ठोस कदम उठाए जाएंगे.
मणस्सरी के श्री कुन्नथ महाविष्णु मंदिर
प्रियंका गांधी ने केरल के कोझिकोड जिले के मणस्सरी में स्थित श्री कुन्नथ महाविष्णु मंदिर का भी दौरा किया. उन्होंने इस अनुभव को “गहरा छू लेने वाला” बताया और मंदिर की शांति व आध्यात्मिकता की सराहना की. सोशल मीडिया पर साझा किए गए अपने अनुभव में उन्होंने बताया कि मंदिर में कई महिलाएं अपनी बारी का इंतजार कर रही थीं और उनसे मिलना खास रहा. उन्होंने यह भी मजाकिया अंदाज में बताया कि उन्हें केले से वजन भी किया गया. मंदिर की खूबसूरती, दीवारों पर बनी कलाकृतियां और मंदिर के हाथ से बने रथ को देख कर वे बहुत खुश हुईं. उन्होंने कहा कि वायनाड में इतनी परंपरा और प्रतिभा है कि हर कोई यहां जरूर आना चाहिए.
क्यों खास है प्रियंका वायनाड दौरा
प्रियंका गांधी वाड्रा का यह दौरा वायनाड और केरल के सांस्कृतिक, प्राकृतिक और आध्यात्मिक धरोहर को सामने लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है. उनकी यह पहल स्थानीय लोगों की समस्याओं को उजागर करने और क्षेत्र के विकास के लिए आवश्यक कदम उठाने की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है.