Home History डायनासोर धरती से विलुप्त नहीं होते, तो कैसी होती हमारी दुनिया

डायनासोर धरती से विलुप्त नहीं होते, तो कैसी होती हमारी दुनिया

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6 करोड़ 8 लाख साल पहले, एक ऐस्टरॉइड 10 अरब परमाणु बमों जितने ताकत के साथ धरती से टकराया और विकास का सारा क्रम बदल गया.

आसमान में अंधेरा छा गया. पौधे मर गए, फिर वह जानवर मरे जो इन्हें खाकर जिंदा रहते थे. सभी प्रजाति 90 फीसदी से अधिक गायब हो गए थे. फिर मुट्ठी भर पक्षियों को छोड़कर सभी डायनासोर विलुप्त हो गए थे. कल्पना कीजिए अगर एस्ट्राइड धरती से नहीं टकराता तो डायनासोर बच गए होते. ऐसे में धरती की तस्वीर कुछ अलग ही होती. (Credit- AFP)

 जुरासिक काल की शुरुआत में सैरोपॉड डायनासोर, ब्रोंटोसॉरस 30-50 टन वजनी और 30 मीटर लंबे हुआ करते थे. उनका विकास कई समूहों में हुआ, जिनमें डिप्लोडोकिडे, ब्रैचियोसौरिडे, तुरियासौरिडे, ममेन्चिसौरिडे और टाइटेनोसोरिया शामिल थे. (Credit-AP)

 डायनासोर का विकास अलग-अलग महाद्वीपों पर, अलग-अलग समय पर और अलग-अलग जलवायु में, रेगिस्तानों से लेकर रेनफॉरेस्ट तक में हुआ, लेकिन इन वातावरणों में रहने वाले अन्य डायनासोर महादानव नहीं बने. इन जानवरों को जोड़ने वाली सामान्य बात यह थी कि वे सौरोपोड थे. इसने उन्हें बड़े होने की वह क्षमता दी जैसी उससे पहले या उसके बाद भी कभी किसी भी भूमि के जानवर के पास नहीं थी. (Credit-Shutterstock.com)

 प्राइमेट्स का विकासवादी इतिहास बताता है कि हमारा विकास कुछ भी हो लेकिन अपरिहार्य था. अफ्रीका में प्राइमेट्स बड़े दिमाग वाले वानरों में विकसित हुए और 70 लाख सालों में आधुनिक मनुष्यों की रचना की, लेकिन कहीं और प्राइमेट इवोल्यूशन ने बहुत अलग रास्ते अपनाए. (Credit-news18)

 3.5 करोड़ साल पहले जब बंदर दक्षिण अमेरिका पहुंचे तो वे और अधिक बंदर प्रजातियों में विकसित हुए. प्राइमेट्स उत्तरी अमेरिका में कम से कम तीन अलग-अलग समय पर पहुंचे, 5.5 करोड़ साल पहले, 5 करोड़ साल पहले और 2 करोड़ साल पहले. फिर भी वे परमाणु हथियार और स्मार्टफोन बनाने वाली प्रजाति के रूप में विकसित नहीं हुए. हालांकि डायनासोर के चले जाने के बाद भी हमारा विकास नहीं रुका.