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कोरोना का टीका नहीं लेने वाले टीचर्स की स्कूल में नो एंट्री, दिल्ली सरकार का बड़ा फैसला.

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दिल्ली शिक्षा निदेशालय (Delhi Directorate of Education) के तहत आने वाले स्कूलों के जिन शिक्षकों (Teachers) और शिक्षकेतर कर्मचारियों ने 15 अक्टूबर तक कोविड रोधी टीकों (Anti Covid Vaccines) की एक भी खुराक नहीं ली है, उन्हें स्कूल आने की अनुमति नहीं दी जायेगी. एक आदेश में इसकी जानकारी दी गयी है. निदेशालय की ओर से 28 अक्टूबर को जारी आदेश के अनुसार, अधिकारी आरोग्य सेतु ऐप या शिक्षकों और कर्मचारियों द्वारा दिये गये टीकाकरण प्रमाण पत्र के माध्यम से टीकाकरण की स्थिति का सत्यापन करेंगे.

आदेश में यह भी कहा गया है कि जिन लोगों ने 15 अक्टूबर तक टीकों की एक भी खुराक नहीं ली है, उन्हें पहली खुराक लेने तक छुट्टी पर माना जाएगा. शिक्षा निदेशालय (डीओई) के तहत आने वाले सरकारी, सरकारी सहायता प्राप्त और निजी गैर सहायता प्राप्त स्कूलों के प्रधानाध्यापकों को 20 अक्टूबर तक शिक्षकों और कर्मचारियों के टीकाकरण की जानकारी देने का निर्देश दिया गया था .
उन्हें छुट्टी पर माना जाएगा
उन्हें निदेशालय के गूगल ट्रैकर लिंक पर जानकारी देने का निर्देश दिया गया था, जो शिक्षकों और कर्मचारियों की कोविड टीकाकरण स्थिति रिपोर्ट प्रदान करता है. पिछले महीने जारी किये गये आदेश में डीओई ने कहा था कि जिन शिक्षकों और कर्मचारियों ने टीकाकरण नहीं कराया है उन्हें 15 अक्टूबर से स्कूल आने की अनुमति नहीं दी जाएगी, और उन्हें छुट्टी पर माना जाएगा.

56.13 फीसदी लोगों में एंटीबॉडी पाई गई थी
बता दें कि बुधवार को ही खबर सामने आई थी कि छठे सीरो सर्वे की रिपोर्ट जारी कर दी गई है. इसमें कहा गया है कि दिल्ली में 90 फीसदी से ज्यादा लोगों में कोरोना (Corona) के खिलाफ एंटीबॉडी (Antibodies) पाई गई है. खास बात यह है कि सीरो पॉजिटिविटी रेट दिल्ली के हर जिले में 85 फीसदी से अधिक पाई गई है. वहीं, पुरुषों की तुलना में महिलाओं की संख्या सीरो पॉजिटिव में ज्यादा है. दरअसल, दिल्ली में कोरोना की चौथी और सबसे खतरनाक लहर के बाद यह पहला सीरो सर्वे किया गया है. जनवरी में किए गए पांचवें सीरो सर्वे में 56.13 फीसदी लोगों में एंटीबॉडी पाई गई थी.

दिल्ली में हाहाकार मच गया था
जानकारी के मुताबिक, बुधवार को समिति ने सर्वे रिपोर्ट दिल्ली सरकार को सौंपी थी. सर्वे के अनुसार, दिल्ली के 90 फीसदी से अधिक लोगों ने कोरोना वायरस के खिलाफ एंटीबॉडी विकसित कर ली है. एक सरकारी अधिकारी ने बताया था कि अप्रैल और मई में आई दूसरी लहर की तरह अब भविष्य में कोई नई लहर आने की संभावना नहीं दिखाई दे रही है, क्योंकि दिल्ली की लगभग पूरी आबादी संक्रमण के खिलाफ एंटीबॉडी प्राप्त कर चुकी है. वहीं, जनवरी में दिल्ली में जो पांचवा सीरो सर्वे हुआ था उसमें 56.13% से ज्यादा लोगों में कोरोना के ख़िलाफ़ एंटीबॉडीज मिली थी. लेकिन अप्रैल के महीने में जब कथित दूसरी लहर आई तो दिल्ली में हाहाकार मच गया था.