Home देश “धनतेरस आज, क्या आप जानते हैं धनत्रयोदशी से जुड़ी ये 10 जरूरी...

“धनतेरस आज, क्या आप जानते हैं धनत्रयोदशी से जुड़ी ये 10 जरूरी बातें?”

3
0

धनतेरस दीवाली पर्व की शुरुआत का पहला दिन माना गया है। इसे धन त्रयोदशी कहा जाता है। धनतेरस का त्योहार हर साल कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को मनाया जाता है।

इस साल धनतेरस 18 अक्तूबर 2025, शनिवार को है। धनतेरस सुख-समृद्धि व खुशहाली का त्योहार है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि धनतेरस का त्योहार मनाने की शुरुआत क्यों हुई, इस दिन किसकी पूजा की जाती है और इस दिन क्या खरीदना शुभ होता है। जानें धनतेरस के त्योहार से जुड़ी 10 जरूरी बातें, जो हर किसी को पता होनी चाहिए।

  1. धनतेरस क्यों मनाया जाता है:

हिंदू शास्त्रों के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान कार्तिक कृष्ण त्रयोदशी के दिन भगवान धन्वंतरि अपने हाथ में अमृत कलश लेकर प्रकट हुए। भगवान धन्वंतरि को भगवान विष्णु का अंश अवतार माना गया है। संसार में चिकित्सा विज्ञान के विस्तार व प्रसार के लिए भगवान विष्णु ने भगवान धन्वंतरि का अवतार लिया था। भगवान धन्वंतरि के प्रकट होने के उपलक्ष्य होने में यह त्योहार मनाया जाता है। एक अन्य मान्यता है कि अनुसार, इस दिन मां लक्ष्मी पृथ्वी पर विचरण करती हैं और अपने भक्तों पर कृपा बरसाती हैं।

  1. धनतेरस पर किसकी पूजा की जाती है:

धनतेरस के दिन मां लक्ष्मी, धन देवता कुबेर जी व भगवान धन्वंतरि की पूजा का विधान है। मान्यता है कि इस दिन इन देवी-देवताओं की आराधना करने से घर में सुख-समृद्धि व खुशहाली आती है।

  1. धनतेरस पर क्या खरीदना शुभ माना गया है:

धनतेरस पर सोना-चांदी व उससे बने आभूषण, पीतल व तांबे के बर्तन, झाड़ू व सूखा धनिया आदि को खरीदना अत्यंत शुभ माना गया है। मान्यता है कि इस दिन नई चीजों को खरीदने से धन-संपदा में तेरह गुना वृद्धि होती है।

  1. धनतेरस पर यमराज की पूजा क्यों होती है:

पौराणिक कथा के अनुसार, प्राचीन समय में हेम नाम का एक राजा था। उनकी कोई संतान नहीं थी। कई सालों की पूजा-पाठ व मनोकामनाओं के बाद उन्हें पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई। पुत्र रत्न होने से राजा अत्यंत प्रसन्न हुए और उन्होंने ज्योतिर्विदों को बुलाकर अपने पुत्र की कुंडली बनवाई। पंडित ने बताया कि उनके पुत्र की कुंडली में अकाल मृत्यु का योग है, अगर उसकी शादी होती है, तो विवाह के दसवें दिन उसकी मृत्यु हो जाएगी। यह सुनकर राजा की खुशियां गम में बदल गईं।

राजा ने उसी दिन फैसला लिया कि वह अपने पुत्र का विवाह नहीं करेंगे, लेकिन इसके बाद भी राजा दिन-रात अपने बेटे की चिंता में डूबे रहते। एक दिन उन्होंने फैसला किया कि पुत्र को ऐसी जगह भेज दें जहां कोई स्त्री नहीं रहती हो। राजा ने ऐसी जगह खोज निकाली और अपने पुत्र को भेज दिया। लेकिन वहां जाकर राजकुमार की मुलाकात एक सुंदर कन्या से हुई। धीरे-धीरे दोनों में प्रेम हो गया और उन्होंने गंधर्व विवाह कर लिया। जैसा कि भविष्यवाणी में कहा गया था विवाह के दसवें दिन यमदूत राजकुमार के प्राण लेने आ गए। यह देखकर उसकी पत्नी जोर-जोर से विलाप करने लगी। नवविवाहिता को इस तरह विलाप करते देख यमदूत दुखी हो गए। यमदूत राजकुमार के प्राण लेकर मृत्यु के देवता यमराज के पास पहुंचे और सारी बात बताई। तब एक यमदूत ने यमराज से पूछा कि क्या अकाल मृत्यु से मुक्ति का कोई उपाय है? प्रश्न का उत्तर देते हुए यमराज ने बताया कि अकाल मृत्यु से बचने के लिए व्यक्ति को धनतेरस के दिन यम के नाम का पूजन व दीपदान करना चाहिए, जहां ये किया जाता है, वहां अकाल मृत्यु का समाप्त हो जाता है।

  1. धनतेरस के दिन यम का दीपक किस दिशा में जलाना चाहिए:

धनतेरस के दिन यम देवता की कृपा पाने के लिए घर की दक्षिण दिशा में चौमुखी दीपक जलाना चाहिए। मान्यता है कि इस दिन सूर्यास्त के बाद यम के नाम का दीपक जलाना अत्यंत शुभ होता है।

  1. धनतेरस के दिन कितने दीपक जलाने चाहिए:

शास्त्रों के अनुसार, धनतेरस के दिन 13 दीपक जलाना शुभ होता है। इन दीयों को घर के हर कोने में रखना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से घर की नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है, साथ ही मां लक्ष्मी घर आती है।

  1. धनतेरस के दिन क्या दान करना चाहिए:

धनतेरस के दिन किसी गरीब या जरूरतमंद व्यक्ति को मिठाई, वस्त्र व अन्न आदि का दान करना चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से घर धन-धान्य से भरा रहता है।

  1. धनतेरस के दिन क्या नहीं करना चाहिए:

धनतेरस के दिन काले रंग की वस्तुएं, लोहा, कांच व प्लास्टिक से बनी चीजें किसी को नहीं देनी चाहिए। मान्यता है कि ऐसा करने से दरिद्रता घेर सकती है।

  1. धनतेरस पर सोना खरीदने का शुभ मुहूर्त क्या है:

धनतेरस के दिन सोना खरीदने का शुभ मुहूर्त सुबह 08 बजकर 50 मिनट से सुबह 10 बजकर 33 मिनट तक रहेगा। इसके बाद सुबह 11 बजकर 43 मिनट से दोपहर 12 बजकर 28 मिनट तक रहेगा। शाम को 07 बजकर 16 मिनट से रात 08 बजकर 20 मिनट तक रहेगा।

  1. धनतेरस पूजा मुहूर्त 2025 क्या है:

इस बार धनतेरस पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 07 बजकर 16 मिनट से रात 08 बजकर 20 मिनट तक रहेगा।